किस हक़ से

किस हक़ से मांगू तुमसे तुम्हारा वक़्त ना वक़्त मेरा है और ना तुम मेरे हो ..

भरोसा खुद पर रखो

भरोसा खुद पर रखो तो ताकत बन जाता है…!!! और दूसरों पर रखो तो कमजोरी बन जाता है…!!!

तकलीफ ये नही की

तकलीफ ये नही की किस्मत ने मुझे धोका दिया मेरा यकिन तुम पर था, किस्मत पर नही..

चले जायेंगे तुझे

चले जायेंगे तुझे तेरे हाल पर छोड़कर,कदर क्या होती है ये तुझे वक़्त सिखाएगा।

एक पुरानी तस्वीर

एक पुरानी तस्वीर जिसमे तुमने बिंदी लगाई है, मै अक्सर उसे रात में चाँद समझ के देख लेता हूँ|

यूँ चुराकर नही

यूँ चुराकर नही लाया करते दुसरो की शेर-ओ शायरी को कुछ अपने लफ़्ज़ों पर भी तो एतबार रखिये|

तुम्हारा साथ भी छूटा

तुम्हारा साथ भी छूटा , तुम अजनबी भी हुए मगर ज़माना तुम्हें अब भी मुझ में ढूंढता है !!

तकिये के लिहाफ में

तकिये के लिहाफ में छुपाकर रखी हैं तेरी यादें, जब भी तेरी याद आती है मुँह छुपा लेता हूँ|

उम्र भर ख़्वाबों की

उम्र भर ख़्वाबों की मंज़िल का सफ़र जारी रहा, ज़िंदगी भर तजरबों के ज़ख़्म काम आते रहे…

हाथ पकड़ कर

हाथ पकड़ कर रोक लेते अगर,तुझपर ज़रा भी ज़ोर होता मेरा, ना रोते हम यूँ तेरे लिये, अगर हमारी ज़िन्दगी में तेरे सिवा कोई ओर होता !

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