बख्शे हम भी न गए

बख्शे हम भी न गए, बख्शे तुम भी न जाओगे.. वक्त जानता है, हर चेहरे को बेनकाब करना..

ये ना समझना कि

ये ना समझना कि खुशियो के ही तलबगार है हम.. तुम अगर अश्क भी बेचो तो उसके भी खरीदार है हम..

तूने मेरी मोहब्बत की

तूने मेरी मोहब्बतकी इंतेहा को समझा ही नहीं.. तेरे बदन से दुपट्टा भी सरकता था तो हम अपनी निगाह झुका लेते थे..

मत पहनाओ इन्हें

मत पहनाओ इन्हें मनचाहा लिबास रिश्ते तो बिना श्रृगांर ही अच्छे लगते हैं…

कुछ जख़्मों की

कुछ जख़्मों की कोई उम्र नही होती…साहेब ताउम्र साथ चलते है ज़िस्म के ख़ाक होने तक…….

तेरे एक-एक लफ्ज़

तेरे एक-एक लफ्ज़ को हज़ार मतलब पहनाये हमने, चैन से सोने ना दिया तेरी अधूरी बातो ने !!

अजब हाल है

अजब हाल है, तबियत का इन दिनो, ख़ुशी ख़ुशी नहीं लगती और गम बुरा नहीं लगता !!

फांसलो का अहेसास

फांसलो का अहेसास तो तब हुआ, जब मैंने कहा मैं ठीक हूँ और उसने मान लिया !!

हम इश्क के

हम इश्क के फ़कीर प्यारे छीनकर ले जायेंगे… दिल की धड़कने तुम्हारी

तू इतना प्यार कर

तू इतना प्यार कर जितना तू सह सके, बिछड़ना भी पड़े तो ज़िंदा रह सके !!

Exit mobile version