चलो छोड़ दो

चलो छोड़ दो मुझकों मग़र इतना तो बता दो की तुम मुझें याद करते थे या वक़्त बर्बाद करते थे !!!

प्यार उम्मीद से

तुम आओ और कभी दस्तक तो दो इस दिल पर, प्यार उम्मीद से काम हो तो सजा ए मौत दे देना..

अपनी महफ़िल से

ग़रीब समझकर आज उसने उठा दिया हमें अपनी महफ़िल से ? . कोई मेरी ख़ातिर पूछे उनसे, क्या चाँद की महफ़िल में सितारे नहीं होते ??

कौन चाहता है

कौन चाहता है खुद को बदलना.. किसी को प्यार तो किसी को नफरत बदल देती है..

जब तक तुम्हारे हाथ

सूरज, सितारे, चाँद मेरे साथ में रहे.,. जब तक तुम्हारे हाथ मेरे हाथ में रहे.,, साखों से टूट जाये वो पत्ते नहीं हैं हम.,, आंधी से कोई कह दे के औकात में रहे.,.,!!!

वो अनजान चला है

वो अनजान चला है ईश्वर को पाने की खातिर.. बेख़बर को इत्तला कर दो की माँ-बाप घर पर ही है……….

बुलंदियो को पाने की ख्वाहिश तो बहुत है

बुलंदियो को पाने की ख्वाहिश तो बहुत है मगर , दूसरों को रौंदने का हुनर कहां से लाऊं….

कर्मो से ही पहचान होती है इंसानों की

कर्मो से ही पहचान होती है इंसानों की.. अच्छे कपड़े तो बेजान पुतलो को भी पहनाये जाते है

गंदगी नज़रों में होती है

गंदगी नज़रों में होती है वरना कचरा बीनने वालों को तो कचरे में भी रोटी दिखती है..

अंगुलिया टूट गई पत्थर

अंगुलिया टूट गई पत्थर तराशते तराशते जब बनी सूरत यार की.. तो खरीददार आ गये…

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