इनकार ही कर दे

तू इनकार ही कर दे मगर कुछ गुफ्तगुं तो कर .. तेरा खामोश सा रहना मुझे तकलीफ देता है…

बच्चों की हथेली

बस्ता बचपन और कागज़ छीन कर तुमने बच्चों की हथेली बेच दी गाँव में दिखने लगा बाज़ारपन प्यार सी वो गुड़ की भेली बेच दी

दिखती भीड़ है

अजीब तरह के, इस दुनीयाँ में मेले है… ! दिखती भीड़ है और, चलते सब अकेले है… !!

मोहलत लेकर आयेंगे

वादा करते हैं दोस्ती निभाएंगे कोशिश यही रहेगी तुझे ना सताएँगे ज़रूरत पड़े तो दिल से पुकार ना मर भी रहे होंगे तो मोहलत लेकर आयेंगे

ज़िंदगी जीने की

बे वजह ही सही, … पर ज़िंदगी जीने की एक वजह हो तुम !!

वक्त जरूर लगा

वक्त जरूर लगा पर मैं सम्भल गया क्योंकि। मैं ठोकरों से गिरा था किसी के नज़रों से नहीं।।

उंगली मेरी वफ़ा

उंगली मेरी वफ़ा पे ना उठाना लोगों, … जिसे शक हो वो एक बार निभा कर देखे ।

सबसे मुश्किल होता हैं

सबसे मुश्किल होता हैं उन जाने लोगो से बात करना, अंजानो की तरह। वो अनजाने लोग जिनपर कभी जान लुटाया करते थे।

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