मैने अपने साये को भी मार डाला है मेरी तन्हाई अब मुक्कमल है।
Category: Hindi Shayri
राख बेशक हूँ
राख बेशक हूँ पर मुझमे हरकत है अभी भी, जिसको जलने की तमन्ना हो हवा दे मुझको..
अधूरी हसरतों का
अधूरी हसरतों का आज भी इलज़ाम है तुम पर,अगर तुम चाहते तो ये मोहब्बत ख़त्म ना होती…
ये कैसी किस्मत है
ये कैसी किस्मत है दिल और भरोसे की,,, कि सिर्फ टूटना लिखा रब ने मुकद्दर में…
हक़ीक़त ना सही
हक़ीक़त ना सही तुम ख़्वाब की तरह मिला करो, भटके हुए मुसाफिर को चांदनी रात की तरह मिला करो |
आज कल बडे खामोश है
आज कल बडे खामोश है शायर सारे… क्या बात है हमसफर नाराज है तुमसे या लफ्ज नाराज है हमसफर से …
आंसू बहा बहा के
आंसू बहा बहा के भी होते नहीं हैं कम.. कितनी अमीर होती है आँखें ग़रीब की..
दिल शरारत पर
सुनो … दिल शरारत पर उतर आया है … कहो तो …महफ़िल में नाम ले लूँ तुम्हारा !!!
अंदाज़ बदलने लगते हैं
अंदाज़ बदलने लगते हैं होठों पे शरारत होती है, नजरों से पता चल जाता है जिस दिल में मोहब्बत होती है…
फासले कहाँ मोहब्बत
फासले कहाँ मोहब्बत को कम कर पाते हैं, बिना मुलाकात के भी कई रिश्ते अक्सर साथ निभाते हैं