मोहब्बत भी ईतनी शीद्दत से

मोहब्बत भी ईतनी शीद्दत से करो की, वो धोखा देकर भी सोचे की वापस जाऊ तो किस मुंह से जाऊ !!

हम वही हैं

हम वही हैं,बस ज़रा ठिकाना बदल लिया है तेरे दिल से निकलकर अब ख़ुद में रहते हैं |

टूटता है तो टूट जाने दो

टूटता है तो टूट जाने दो, आइने से निकल रहा हूँ मैं…

नसीहत सभी देते हैं

नसीहत सभी देते हैं गम को भुलाने की, बताता वजह कोई नहीं मुस्कराने की…

गले मिलने को

गले मिलने को आपस में दुआयें रोज़ आती हैं, अभी मस्जिद के दरवाज़े पे माएँ रोज़ आती हैं…

दिल को जो मेरे

दिल को जो मेरे ले गया, उसकी तलाश क्या करूँ जिसने चुराया दिल मेरा, वो तो मेरी नज़र में है |

हर रात कुछ

हर रात कुछ खवाब अधूरे रह जाते हैं… किसी तकिये के नीचे दबकर अगली रात के लिये….

इक चेहरा पड़ा मिला

इक चेहरा पड़ा मिला मुझे, रास्ते पर, जरूर किरदार बदलते वक्त गिरा होगा|

बदलवा दे मेरे

बदलवा दे मेरे भी नोट ए ग़ालिब, या वो जगह बता दे, जहां कतार न हो..

पूरी दुनिया से

पूरी दुनिया से जुदा सा है वो, हम जिसे चाहते हैं खुदा सा है वो ।

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