इश्को-आवारगी का अजब फसाना रहा, दीवाना हमेशा तेरा ही दीवाना रहा..
Category: Zindagi Shayri
तू मेरे पास
तू मेरे पास था में तेरे साथ था वो था जिंदगी का दिन की एक दिन की जिंदगी
युं ना देखा
युं ना देखा करो…. खुदा के लिये !! मोहब्बत बढ गयी तो ….मुसीबत हो जायेगी
तुझसे जुदाई के
तुझसे जुदाई के उस एक फ़ैसले के बाद मैं खुद भी अपने साथ कभी रहा नहीं
इतना मालूम है
गिनती तो ठीक से सीखी नही, मगर… इतना मालूम है, खुसिया बाटने से बढ़ती है..!!
कभी तो हिसाब करो
कभी तो हिसाब करो हमारा भी, इतनी मोहब्बत भला देता कौन है… उधार में..!!
जब आंख खुली
जब आंख खुली तो अम्मा की गोदी का एक सहारा था उसका नन्हा सा आंचल मुझको भूमण्डल से प्यारा था उसके चेहरे की झलक देख चेहरा फूलों सा खिलता था उसके स्तन की एक बूंद से मुझको जीवन मिलता था हाथों से बालों को नोंचा पैरों से खूब प्रहार किया फिर भी उस मां ने… Continue reading जब आंख खुली
दिल की क्या औकात
जब हम तुझ पे कुरबान हैं तो दिल की क्या औकात
दुख जमा कर सकते है।
“माँ” एक ऐसी ‘बैंक’ है जहाँ आप हर भावना और दुख जमा कर सकते है। और “पापा” एक ऐसा ‘क्रेडिट कार्ड’ है जिनके पास बैलेंस न होते हुए भी हमारे सपने पूरे करने की कोशिश करते है॥
काश तुम भी
काश तुम भी हो जाओ तुम्हारी यादों की तरह. ना वक़्त देखो, ना बहाना, बस चले आओ…