यूँ तो मुझे

यूँ तो मुझे किसी के भी छोड़ जाने का गम नहीं बस, कोई ऐसा था जिससे ये उम्मीद नहीं थी..

तकलीफों ने ऐसा

तकलीफों ने ऐसा तराशा है मुझको… हर गम के बाद ज्यादा चमकता हूँ..

वक्त इंसान पे

वक्त इंसान पे ऐसा भी कभी आता है . राह में छोड़ के साया भी चला जाता हैवक्त इंसान पे ऐसा भी कभी आता है . राह में छोड़ के साया भी चला जाता है|

है कोई रंग जो हो

है कोई रंग जो हो इश्क़े-ख़ुदा से बेहतर अपने आपे में चढ़ा लो उसी इक ज़ात का रंग |

भुख लोरी गा गा कर

भुख लोरी गा गा कर, . जमीर को सुलाये रखती हैं…….

वक़्त का जहाज़

वक़्त का जहाज़ था करता लिहाज़ क्या मैं दोस्तों से हाथ मिलाने में रह गया

फिर वार हुआ

फिर वार हुआ दिल की दिवारो पर… फिर ऐसे जख्म मिलें है कि हम मरहम ना ढुंढ पाए…

थोड़ी सी तमीज़

थोड़ी सी तमीज़ मुझे भी फ़रमा मेरे मौला, रंज़िश के इस दौर मे और भी बेख़ौफ़ होता जा रहा हूँ|

जिसको भी देखा रोते हुए

जिसको भी देखा रोते हुए ही देखा… मुझे तो ये “मोहब्बत” साजिश लगती है रुमाल बनाने वालो की…

हमे दुवाए दिल से

हमे दुवाए दिल से मिली है,…!!!! कभी खरीदने को जेब में हाथ नही डाला.

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