यूँ पानी से नहीं

यूँ पानी से नहीं थमने वाली तेरी हिचकियाँ, इलाज़ चाहिए तो हमारी मौत की दुआ किया कर…

जाने क्यूँ आजकल

जाने क्यूँ आजकल, तुम्हारी कमी अखरती है बहुत यादों के बन्द कमरे में, ज़िन्दगी सिसकती है बहुत पनपने नहीं देता कभी, बेदर्द सी उस ख़्वाहिश को महसूस तुम्हें जो करने की, कोशिश करती है बहुत..

कितना प्यार है

कितना प्यार है तुमसे, वो लफ्ज़ों के सहारे कैसे बताऊँ, महसूस कर मेरे एहसास को, अब गवाही कहाँ से लाऊँ।

मनमौजी दिल का

मनमौजी दिल का सरल, मानव रहे प्रसन्न। तुनक़मिजाज़ी आदमी, रहता हरदम सन्न।।

जिस रिश्ते को बनाए

जिस रिश्ते को बनाए रखने की चाहत दोनो तरफ़ से एक जैसी ना हो ,उसका टूट जाना बेहतर है ….!!

किसी और का हाथ

किसी और का हाथ कैसे थाम लूँ.. तू तन्हा मिल गई तो क्या जवाब दूँगा..

जब भी जिंदगी रुलाये

जब भी जिंदगी रुलाये समझना गुनाह माफ़ हो गये, और जब भी जिंदगी हँसाये समझना दुआ कुबूल हो गयी !!

सोचा था घर बनाकर

सोचा था घर बनाकर बेठुंगा सुकून से, पर घर की जरूरतों ने मुसाफिर बना डाला..!!

बहुत सोचना पड़ता है

बहुत सोचना पड़ता है अब मुँह खोलने से पहले,, क्यूंकि अब दुनियाँ दिल से नहीं दिमाग से रिश्ते निभाती है …!!

मेरी जिन्दगी को

मेरी जिन्दगी को अधूरा कर दिया । वाह रे मोहब्बत तुने अपना काम पूरा कर दिया।

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