आदत’ बना ली है। मैंने खुद को तकलीफ देने की । ताकि जब कोई अपना । तकलीफ दे तो फिर ” तकलीफ ” न हो.
Tag: WhatsApp
बदल के आते है
जिंदगी,, सुन,,, तू यहीं रुकना हम जमाना बदल के आते है,,,,,!
दर्द की शायद
और भी बनती लकीरें, दर्द की शायद कई शुक्र है तेरा खुदा, जो हाथ छोटा सा दिया..
आओ कभी यूँ
आओ कभी यूँ मेरे पास की आने में लम्हे और जाने में ज़िन्दगी गुज़र जाये
गुजारिश तेरी दोस्ती
करनी है खुदा से गुजारिश तेरी दोस्ती के सिवा कोई बंदगी न मिले, हर जनम में मिले दोस्त तेरे जैसा या फिर कभी जिंदगी न मिले।
तुम मुझे भूल जाओ
तुम मुझे भूल जाओ ..ये तुम्हारी मर्जी .. “लेकिन” मैं क्या करूँ .. मुझे तो भूलना भी नहीं आता !
सबका होता गया
किस्मत बुरी या मै बुरा फैसला हो ना सका ! मै सबका होता गया कोई मेरा हो ना सका !!
इश्क में हूँ
मैं वो हूँ जो आँखों में आँखे डाल के सच जान लेता हूँ, इश्क में हूँ बस इसलिए तेरे झूठ भी सच मान लेता हूँ !
आदते बुरी नही
आदते बुरी नही हमारी बस थोडे शौक उँचे है वर्ना किसी ख्वाब की इतनी औकात नही, की हम देखे और वो पूरा ना हो हम बादशाहो के बादशाह है, इसलीए गुलामो जैसी हरकते नही, नोटो पर फोटो हमारा भी हो सकता, पर लोगो की जेब मे रहना हमारी फीतरत नही
मौजूदगी बयाँ करता है।
तजुर्बे ने शेरों को खामोश रहना सिखाया; क्योंकि दहाड़ कर शिकार नहीं किया जाता; कुत्ते भौंकते हैं अपने जिंदा होने का एहसास दिलाने के लिए; मगऱ जंगल का सन्नाटा शेर की मौजूदगी बयाँ करता है।