अजीब सी बेताबी है…

अजीब सी बेताबी है… तेरे बिना, रह भी लेते है और रहा भी नही जाता..

चलती नहीं दुनिया

चलती नहीं दुनिया किसी के आने से, रूकती नहीं दुनिया किसी के जाने से. प्यार तो सबको मिल जाता है, कमी का पता तो चलता है किसी के दूर जाने से.

उम्र कम थी

उम्र कम थी इश्क़ बेहिसाब हो गया…….!! एक वक्त के बाद ये रोग लाइलाज हो गया….!!

उनके लौट आने की

आज भी उनके लौट आने की आस बाकी है, वो जबतक ना मिलेंगे ये सांस बाकी है, हर एक सांस में उनका एहसास बाकी है, उनके दूर जाते कदमों की आवाज़ बाकी है, . . वो नहीं भूले होंगे हमें, अभी ये विश्वास बाकी है।।

कमबख्त दिल भी

कमबख्त दिल भी कमाल करता है जब खाली खाली होता है, भर आता है!!

उम्र छोटी है

उम्र छोटी है तो क्या, ज़िंदगी का हरेक मंज़र देखा है, फरेबी मुस्कुराहटें देखी हैं, बगल में खंजर देखा है।

इस वास्ते चुप हूँ…

मैं तो इस वास्ते चुप हूँ…के तमाशा ना बने, और वो सोचते है , मुझे गिला कुछ भी नहीं

काश यह जालिम जुदाई

काश यह जालिम जुदाई न होती! ऐ खुदा तूने यह चीज़ बनायीं न होती! न हम उनसे मिलते न प्यार होता! ज़िन्दगी जो अपनी थी वो परायी न होती!

दिल के टूटने से

दिल के टूटने से नही होती है आवाज़! आंसू के बहने का नही होता है अंदाज़! गम का कभी भी हो सकता है आगाज़! और दर्द के होने का तो बस होता है एहसास!

गैरों ने मारा

गैरों ने मारा या अपनों ने क्या फर्क पड़ता है मरना तो मुझे ही हर बार पड़ता है|

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