मेरे अश्कों के दरिया में, कभी ग़र डूब भी जाओ…
वफ़ा तिनका ही सही मेरी , किनारे खींच लाएगी|
Dil ke jazbaati lafzon ki ek mehfil ! | दिल के जज्बाती लफ्जो की एक महफ़िल !
मेरे अश्कों के दरिया में, कभी ग़र डूब भी जाओ…
वफ़ा तिनका ही सही मेरी , किनारे खींच लाएगी|