मै उसे अपना समझता रहा, . . जो कभी मेरा था ही नही….
Tag: जिंदगी शायरी
तू चेहरे पर बढ़ती सिलवटों की परवाह न कर
तू चेहरे पर बढ़ती सिलवटों की परवाह न कर, हम लिखेंगें तुझे अपनी शायरी में हमेशा ही जवां…!!!
जिंदगी में कुछ भी मुफ्त में नहीं मिलता
जिंदगी में कुछ भी मुफ्त में नहीं मिलता, बचपन खोया तब जाकर जवानी मिली…!!!
तेरी मौहब्बत से ले कर तेरे अलविदा कहने
तेरी मौहब्बत से ले कर तेरे अलविदा कहने तक, मैंने सिर्फ तुझे चाहा, तुझ से कुछ नहीं चाहा |
नाराजगी नींदों की
नाराजगी नींदों की….. कशमकश ख्यालों की….
देख ज़िन्दगी इस तरह ना रुला
देख ज़िन्दगी इस तरह ना रुला मुझे, मै खफा हुआ तो छोड़ दूँगा तुझे भी…!!!
हैरान कर दिया उसने आँसुओं की वजह
हैरान कर दिया उसने आँसुओं की वजह पूछ कर, जो शक़्स कभी मुझको मुझसे ज़्यादा जानता था…!!!
काश तुझ पर भी लागू होती आर.टी.आई
काश तुझ पर भी लागू होती आर.टी.आई, ऐ जिन्दगी….तुझसे बहुत से जवाब चाहिए…!!!
अपनी खुशियों की चाबी किसी को न देना
अपनी खुशियों की चाबी किसी को न देना, दाेस्त लोग अक्सर दूसरों का सामान खो देते हैं..!!
रहता हूं किराये के घर में
रहता हूं किराये के घर में… रोज़ सांसों को बेच कर किराया चूकाता हूं…. मेरी औकात है बस मिट्टी जितनी… बात मैं महल मिनारों की कर जाता हूं…. जल जायेगा ये मेरा घर इक दिन… फिर भी इसकी खूबसूरती पर इतराता हूं…. खुद के सहारे मैं श्मशान तक भी ना जा सकूंगा… इसीलिए जमाने में… Continue reading रहता हूं किराये के घर में