आप चाहो मेरे हाथों की

आप चाहो मेरे हाथों की तलाशी ले लो, मेरे हाथों में लकीरों के सिवा कुछ भी नहीं !

कोई अच्छा लगा

दिल भी न जाने किस किस तरह ठगता चला गया, कोई अच्छा लगा और बस लगता चला गया..!!

खामोश रहती है वो

खामोश रहती है वो तितली जिसके रंग हज़ार है… और शोर करता रहा वो कौवा, ना जाने किस गुमान पर…

प्यार आता है तुम पर

मैंने कहा बहुत प्यार आता है तुम पर …… वो मुस्करा कर बोले और तुम्हें आता ही क्या है…….

पलकों से पानी गिरा है

पलकों से पानी गिरा है, तो उसे गिरने दो, सीने में कोई पुरानी तमन्ना, पिघल रही होगी….

बीती जो खुद पर

बीती जो खुद पर तो कुछ न आया समझ, मशवरे यूँ तो हम औरों को दिया करते थे|

हर किसी को

हर किसी को मैं खुश रख सकूं, वो सलीका मुझे नहीं आता जो मैं नहीं हूँ, वो दिखने का तरीका मुझे नहीं आता |

मुश्किल भी तुम हो

मुश्किल भी तुम हो, हल भी तुम हो, होती है जो सीने में , वो हलचल भी तुम हो ..!!

मुसीबतों से निखरती है

मुसीबतों से निखरती है शख्सियत यारों, जो चट्टानों से न उलझे वो झरना कैसा !!

क्यों हम भरोसा करें

क्यों हम भरोसा करें गैरों पर, जबकि हमें चलना है अपने ही पैरों पर|

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