नशेमन ही के लुट जाने का ग़म होता तो क्या ग़म था,
यहाँ तो बेचने वाले ने गुलशन बेच डाला है।
Dil ke jazbaati lafzon ki ek mehfil ! | दिल के जज्बाती लफ्जो की एक महफ़िल !
नशेमन ही के लुट जाने का ग़म होता तो क्या ग़म था,
यहाँ तो बेचने वाले ने गुलशन बेच डाला है।