बहस यह सिद्ध करने के
लिये होती है कि
“कौन सही है”
जब की बातचीत यह तय
करती है कि
“क्या सही है”
Dil ke jazbaati lafzon ki ek mehfil ! | दिल के जज्बाती लफ्जो की एक महफ़िल !
बहस यह सिद्ध करने के
लिये होती है कि
“कौन सही है”
जब की बातचीत यह तय
करती है कि
“क्या सही है”