तेरी एक – एक लफ्ज़ के हजार मतलब समझे हमने .. चैन से सोने ना दिया तेरी एक अधूरी बात त. ने …….!!
Category: गुस्ताखियां शायरी
फिर से महसुस हुई
फिर से महसुस हुई तेरी कमी शिद्दत से आज भी दिल को मनाने मे बहुत देर लगी|
थक कर घडी भर
थक कर घडी भर उसी की छांव में बैठ गए … चंद लोग जो उस पेड़ को काट रहे थे ..
उनको ये शिकायत है
उनको ये शिकायत है.. मैं बेवफ़ाई पे नही लिखता, और मैं सोचता हूँ कि मैं उनकी रुसवाई पे नही लिखता.’ ‘ख़ुद अपने से ज़्यादा बुरा, ज़माने में कौन है ?? मैं इसलिए औरों की.. बुराई पे नही लिखता.’ ‘कुछ तो आदत से मज़बूर हैं और कुछ फ़ितरतों की पसंद है , ज़ख़्म कितने भी गहरे… Continue reading उनको ये शिकायत है
तुम्हारे इंतजार मे
यकीन मानो.. तुम्हारे इंतजार मे सिर्फ दिल ही नही.. दिमाग, घड़ी,रास्ता.. सब धक- धक करता रहता है..
पांव के कांटे
पांव के कांटे ने ये बतलाया, इस गली में गुलाब है साहेब…
ज़िँदा लाशोँ की भीड़ है
ज़िँदा लाशोँ की भीड़ है चारोँ तरफ… मौत से भी बड़ा हादसा है जिँदगी…
खींचों न कमानों को
खींचों न कमानों को न तलवार निकालो जब तोप मुकाबिल हो तो अखबार निकालो|
कितना मुश्किल है
कितना मुश्किल है ज़िन्दगी का ये सफ़र, खुदा ने मरना हराम किया, लोगों ने जीना !!
पलट चलें के
पलट चलें के ग़लत आ गए हमीं शायद रईस लोगों से मिलने के वक़्त होते हैं|