तुम्हारे..
एक लम्हें पर भी मेरा हक़ नहीं…
ना जाने…
तुम किस हक़ से मेरे हर लम्हें में शामिल हो
Dil ke jazbaati lafzon ki ek mehfil ! | दिल के जज्बाती लफ्जो की एक महफ़िल !
तुम्हारे..
एक लम्हें पर भी मेरा हक़ नहीं…
ना जाने…
तुम किस हक़ से मेरे हर लम्हें में शामिल हो