मतलबी दुनिया के लोग खड़े है,हाथों में पत्थर लेकर ,
मैं कहाँ तक भागूं ,शीशे का मुकद्दर लेकर!!
Dil ke jazbaati lafzon ki ek mehfil ! | दिल के जज्बाती लफ्जो की एक महफ़िल !
मतलबी दुनिया के लोग खड़े है,हाथों में पत्थर लेकर ,
मैं कहाँ तक भागूं ,शीशे का मुकद्दर लेकर!!