ज़ख्म देकर ना पूछा करो दर्द की शिद्दत;
“दर्द तो दर्द ” होता है , थोड़ा क्या और ज्यादा क्या…!!
Dil ke jazbaati lafzon ki ek mehfil ! | दिल के जज्बाती लफ्जो की एक महफ़िल !
ज़ख्म देकर ना पूछा करो दर्द की शिद्दत;
“दर्द तो दर्द ” होता है , थोड़ा क्या और ज्यादा क्या…!!