वो रुठ कर बोली क्यूं
इतना दर्द लिखते हो,
मैंने मुस्कुरा के कहा..
शायरी कोई कानूनन
जुर्म तो नहीं..!
Dil ke jazbaati lafzon ki ek mehfil ! | दिल के जज्बाती लफ्जो की एक महफ़िल !
वो रुठ कर बोली क्यूं
इतना दर्द लिखते हो,
मैंने मुस्कुरा के कहा..
शायरी कोई कानूनन
जुर्म तो नहीं..!