by pyarishayri - Hindi, Hindi Shayri, Hindi Shayris, Shayari, Shayri, गुस्ताखियां शायरी, जिंदगी शायरी, दर्द शायरी, प्यार शायरी, प्यारी शायरी, वक्त-शायरी, शायरी, हिंदी, हिंदी शायरी - September 15, 2016 जन्नत का हर लम्हा जन्नत का हर लम्हा दीदार किया था ।। माँ तूने गोद मे उठा कर जब प्यार किया था | |