हाथ जख्मी हुए तो कुछ हमारी भी गलतियाँ थी,,,
लकीरों को मिटाने चले थे किसी एक को पाने के लिए…
Dil ke jazbaati lafzon ki ek mehfil ! | दिल के जज्बाती लफ्जो की एक महफ़िल !
हाथ जख्मी हुए तो कुछ हमारी भी गलतियाँ थी,,,
लकीरों को मिटाने चले थे किसी एक को पाने के लिए…