by pyarishayri - Facebook Status, Urdu Shayri, Whatsapp Shayri, वक़्त शायरी, वक्त-शायरी, व्यंग्य शायरी, व्हाट्सप्प स्टेटस, शर्म शायरी, हिंदी शायरी - May 6, 2017 खुदा जाने कौनसा खुदा जाने कौनसा गुनाह कर बैठे है हम कि,,, तमन्नाओं वाली उम्र में तजुर्बे मिल रहे है|