वो शातिर है

वो शातिर है जानता है आदमी की जरूरतें क्या क्या हैं,
सफ़ेद कुर्ते की इक जेब में रोटी तो दूसरी में रम रखता है ।

आज पास हूँ

आज पास हूँ तो क़दर नहीं है तुमको,
यक़ीन करो टूट जाओगे तुम मेरे चले जाने से|