वो जो आँखों से पीते है वही बहकते है..
वरना इतना नशा शराब से कहा होता है.
Dil ke jazbaati lafzon ki ek mehfil ! | दिल के जज्बाती लफ्जो की एक महफ़िल !
वो जो आँखों से पीते है वही बहकते है..
वरना इतना नशा शराब से कहा होता है.
कभी टूटा नही मेरे दिल से तेरी याद का रिश्ता…
गुफ़्तुगू जिस से भी हो ख़याल तेरा ही रहता है..
सख़्त हाथों से भी….
छूट जाती हैं कभी उंगलियाँ….
रिश्ते ज़ोर से नहीं….
तमीज़ से थामे जाते हैं….
नजाकत तो देखिये साहेब..चांद सा जब कहा उनको..
तो कहने लगी..चांद कहिये ना ये चांद सा क्या है..
काफी दिनों से
कोई नया जख्म नहीं मिला;
पता तो करो..
“अपने” हैं कहां ????
खुद को गलत भी….
सही आदमी ही मान सकता है….!!
पाने की बेकरारी
और
खोने की दहशत,
इन्हीं बेचैनियों का नाम है मोहब्बत
उसका नजर से दूर रह कर भी, मेरी हर सोंच में हमेशा रहना…..
किसी के पास रहने का तरीका हो,
तो ऐसा ही हो….
बड़ा अहसान है तेरी सभी नफरतों का मुझपे,
तुझसे मिली एक ठोकर ने मुझे चलना सिखा दिया…
जब तक है ये सांस निभा लो साथ
अफसोस ही रहता है, बिछड़ जाने के बाद…!!!