हर इसांन की

हर इसांन की ख्वाहिश होती है
कि सब

उसे पहचाने
,

पर
,
ये भी चिंता सताती है,
कि कोई सही में पहचान न ले…

फोड़ देती है

फोड़ देती है अपना

गुल्लक भी भाई की खुशियों के लिये

भगवान के अलावा बहनें भी मनोकामना पूर्ण करती है

बुरा मान गये!

गले से

उन को लगाया तो बुरा मान गये!
यूँ नाम ले के बुलाया तो बुरा मान गये!

ये हक़ उसी ने दिया

था कभी मुज को लेकिन;
जो आज प्यार जताया तो बुरा मान गये!

जो मुद्द्तों से मेरी नींद

चुरा बैठे है;
में उस के ख्वाब में आया तो बुरा मान गये!

जब कभी साथ में होते थे, गुनगुनाते

थे;
आज वो गीत सुनाया तो बुरा मान गये!

हंमेशा खुद ही निगाहों से वार करते थे;
जो तीर

हम ने चलाया तो बुरा मान गये!

लोग चाहते हैं कि

लोग चाहते हैं कि आप

बेहतर करें,
लेकिन ये भी सत्य है कि वो कभी नहीं चाहते कि आप उनसे बेहतर करें !!!”

दूनिया का उसूल है जब तक काम है तब

तक तेरा नाम है वरना दूर से ही सलाम है