बड़ा फर्क है

बड़ा फर्क है आपकी और मेरी मोहब्बत में…
आप परखते रहे…और हमने ज़िंदगी यकीन में गुजार दी…!

पास आकर सभी

पास आकर सभी दूर चले जाते हैं;
अकेले थे हम, अकेले ही रह जाते हैं;
इस दिल का दर्द दिखाएँ किसे;
मल्हम लगाने वाले ही जखम दे जाते हैं!

ठान लिया था

ठान लिया था कि अब और शायरी
नही लिखेंगे पर उनका पल्लू गिरा देखा और
अल्फ़ाज़ बग़ावत कर बैठे..!!