उस देश में औरत का मरतबा
कैसे बुलंद हो सकता है,
जहाँ मरदों की लड़ाई में गालियां मां -बहन की दी
जाती है.!!
Dil ke jazbaati lafzon ki ek mehfil ! | दिल के जज्बाती लफ्जो की एक महफ़िल !
उस देश में औरत का मरतबा
कैसे बुलंद हो सकता है,
जहाँ मरदों की लड़ाई में गालियां मां -बहन की दी
जाती है.!!
मौका दीजिये अपने खून को किसी की रगों में बहने का..
ये लाजवाब तरीका है कई जिस्मों में ज़िंदा रहने का.!!
बहुत ख़ास थे कभी नज़रों में किसी के हम भी;
मगर नज़रों के तकाज़े बदलने में देर कहाँ लगती है…
माला की तारीफ़ तो करते हैं सब,
क्योंकि मोती सबको दिखाई देते हैं..
काबिले तारीफ़ धागा है जनाब जिसने सब को जोड़ रखा है.
Taqdeer se har shaks ne hissa paaya..
Mere hisse me tere saath ki hasraat reh gaai..!
ये दुनियाँ ठीक वैसी है जैसी आप इसे देखना पसन्द करते हैं।
यहाँ पर किसी को गुलाबों में काँटे नजर आते हैं तो किसी को काँटों में गुलाब !!
हमेशा नहीं रहते सभी चेहरे नक़ाबों में,
हर इक क़िरदार खुलता है, कहानी ख़त्म होने पर…!!
मयखाने से पूछा आज,इतना सन्नाटा क्यों है,
.
मयखाना भी मुस्कुरा के बोला,
लहू का दौर है, साहेब
अब शराब कौन पीता है…..!!……..
ख्वाइश बस इतनी सी है कि तुम मेरे लफ़्ज़ों को समझो
आरज़ू ये नहीं कि लोग वाह – वाह करें…!!
हर इसांन की ख्वाहिश होती है
कि सब
उसे पहचाने
,
पर
,
ये भी चिंता सताती है,
कि कोई सही में पहचान न ले…