अपनी तकदीर में

अपनी तकदीर में तो कुछ ऐसे ही सिलसिले लिखे हैं;
किसी ने वक़्त गुजारने के लिए अपना बनाया;
तो किसी ने अपना बनाकर ‘वक़्त’ गुजार लिया!

यूँ तो मशहूर हैं

यूँ तो मशहूर हैं अधूरी मोहब्बत के, किस्से बहुत से,
मुझे अपनी मोहब्बत पूरी करके, नई कहानी लिखनी हैं|

जो नजर से

जो नजर से गुजर जाया करते हैं,
वो सितारे अक्सर टूट जाया करते हैं,
कुछ लोग दर्द को बयां नहीं होने देते,
बस चुपचाप बिखर जाया करते हैं|

अलविदा कहते हुए

अलविदा कहते हुए जब मैंने
मांगी उससे कोई निशानी
वो मुस्कुरा के बोले मेरी जुदाई ही
काफ़ी हैं तुझे रुलाने के लिए..!!