खुशियों का रंग

खुशियों का रंग दर्द की तस्वीर बदल दे
अब तो हमारे पाँव की ज़ंज़ीर बदल दे…
लिक्खा नही नसीब में तूने वो एक शख्स
मौला तू मेरे हाथ की तकदीर बदल दे

मैंने आंसू को

मैंने आंसू को समझाया, भरी महफ़िल में ना आया करो,

आंसू बोला, तुमको भरी महफ़िल में तन्हा पाते है,

इसीलिए तो चुपके से चले आते है…