ये जो मेरे हालात हैं एक दिन सुधर जायेंगे
मगर तब तक कई लोग मेरे दिल से उतर जायेंगे
Dil ke jazbaati lafzon ki ek mehfil ! | दिल के जज्बाती लफ्जो की एक महफ़िल !
ये जो मेरे हालात हैं एक दिन सुधर जायेंगे
मगर तब तक कई लोग मेरे दिल से उतर जायेंगे
तुम आ के थाम लो ना मुझे…
सब ने छोर दिया है मुझे तुम्हारा समझ कर…
रूह तक नीलाम हो जाती है इश्क के बाज़ार में,
इतना आसान नहीं होता किसी को अपना बना लेना…!!
बहारों की चाह में गुजर जाती है यह ज़िंदगी,
और कुछ फूल हंसके पतझड़ों में पलना सीख जाते हैं…
मेरे सीने में नहीं तो तेरे सीने में सही,
हो कहीं भी आग, लेकिन आग जलनी चाहिए।
जो कहते थे मुझे डर है, कहीं मैं खो न दूँ तुम्हे,
सामना होने पर मैंने उन्हें चुपचाप गुजरते देखा है।
टूटकर शाख से मिट्टी में कहीं बिखर जाता है,
रो तो लेता हूं मगर दर्द और भी बढ जाता है|
हमारी वफा से तुमको शिकायत ही भले सही,
तुम्हारा इश्क ना मयस्सर मुसीबत ही हमें सही,,
तुम्हारी दिल्लगी को हम मोहब्बत क्यों समझ बैठे,
तिजारती यार जा तेरी अदावत भी हमें सही
जवानी में जिंदगी के रिवाज बदल जाते हैं,
उम्र बदलने के साथ अंदाज बदल जाते हैं,,
खुशनुमा आलम हो और हुस्न हो अगर साथ,
तो अच्छे अच्छों के हुजूर मिजाज बदल जाते हैं|
चाहत है किसी चाहत को पाने की,
चाहत है चाहत को आज़माने की,
वो चाहे हमें चाहे ना चाहे,
पर चाहत है उनकी चाहत में मिट जाने की.. !!!