पसन्द करके प्यार नही किया जाता है …?
?प्यार करके पसन्द किया जाता
Dil ke jazbaati lafzon ki ek mehfil ! | दिल के जज्बाती लफ्जो की एक महफ़िल !
पसन्द करके प्यार नही किया जाता है …?
?प्यार करके पसन्द किया जाता
पता है … लाश पानी में क्यों तैरती हैं …??
क्योंकि डुबने के लिए जिंदगी चाहिए
साकी को गिला है की उसकी बिकती नहीं शराब..
और एक तेरी आँखें है की होश में आने नहीं देती.. .!”
ये क्यों कहे दिन आजकल अपने खराब हैं,
काटों से घिर गये हैं, समझ लो गुलाब हैं।
ग़ुरूर उनको भी है, ग़ुरूर हमको भी..
बस इसी जंग को जीतने में हम दोनों हार गये..
अपने ही अपनों से करते है अपनेपन की अभिलाषा…
पर अपनों ने ही बदल रखी है, अपनेपन की परिभाषा !!
देखा जो तीर खा के, दुश्मनों की तरफ़..
अपने ही दोस्तों से मुलाकात हो गई..
बे वजह ही सही,
…
पर ज़िंदगी जीने की एक वजह हो तुम !!
कर रहा हूँ बर्दाश्त हर दर्द इसी आस के साथ…. की मंजिल भी मिलेगी … सब आज़माइशों के बाद…
फासलें इस कदर हैं आज रिश्तों में,
जैसे कोई घर खरीदा हो किश्तों में