जिन्दगी जीने का मजा

जिन्दगी जीने का मजा तब तक जब तक वो जरा अधूरी रही, मौका दूसरा हर किसी के मुकद्दर में हो ये जरूरी नहीं।।

क्या हो जब इश्क अकेलेपन से

क्या हो जब इश्क अकेलेपन से हो जाए.. साथ होना किसी का या ना होना इक सी बात हो जाए..!!

ख़लिश और कशिश

ख़लिश और कशिश में ज़िन्दगी और मौत सा अंतर होता है ।

मोहब्बत करने का हुनर

चल यारा..मोहब्बत करने का हुनर सिखाता हूँ.. इश्क तुम शुरू करो निभाकर मैं दिखाता हूँ…!!

अब आ गये हैं

अब आ गये हैं आप तो आता नहीं है याद वर्ना कुछ हमको आपसे कहना ज़रूर था….!

यह दिल जिद पे अड़ा है

यह दिल जिद पे अड़ा है किसी बच्चे की तरह या तो इसे सब कुछ चाईए या कुछ भी नहीं |

जाने किस किस को

जाने किस किस को लूटा है इस चोर ने मसीहा बनकर, के आओ सब मिलकर इश्क पे मुकदमा कर दें….

मुहब्बतों के दिनों की

मुहब्बतों के दिनों की यही ख़राबी है , यह रूठ जायें तो फिर लौटकर नहीं आते|

ज़मीं पर आओ

ज़मीं पर आओ फिर देखो हमारी अहमियत क्या है बुलंदी से कभी ज़र्रों का अंदाज़ा नहीं होता|

अब ना कोई शिकवा

अब ना कोई शिकवा,ना गिला,ना कोई मलाल रहा.सितम तेरे भी बेहिसाब रहे, सब्र मेरा भी कमाल रहा!!

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