उसने कहा हमसे.. हम तुम्हें बर्बाद कर देंगे…
हमने मुस्कुरा के पूछा… क्या तुम भी मोहब्बत करोगे अब हमसे..?
Dil ke jazbaati lafzon ki ek mehfil ! | दिल के जज्बाती लफ्जो की एक महफ़िल !
उसने कहा हमसे.. हम तुम्हें बर्बाद कर देंगे…
हमने मुस्कुरा के पूछा… क्या तुम भी मोहब्बत करोगे अब हमसे..?
बदल जाते है वो लोग वक़्त की तरह,
जिन्हें हद से ज़्यादा वक़्त दे दिया जाये…
मैं जल्द ही आऊंगा सावन की घटा बनकर
तुम मौसम ए गर्मा की कुछ प्यास बचा रखना|
यूँ तो हैरान गुनाहों पे ज़माना है मगर
जुर्म ऐसा भी कोई हो कि ख़ुदा चौंक पड़े|
जाने वाला देखिये क्या क्या निशानी दे गया
आख में आंसू दिए लब पर कहानी दे गया|
तारीफ़ अपने आप की, करना फ़िज़ूल है…
ख़ुशबू तो ख़ुद बताएगी, कौन सा फ़ूल है…
उसने कहा हमसे.. हम तुम्हें बर्बाद कर देंगे…
हमने मुस्कुरा के पूछा… क्या तुम भी मोहब्बत करोगे अब हमसे..?
कभी-कभी बहुत सताता है यह सवाल मुझे..
हम मिले ही क्यूं थे जब हमें मिलना ही नहीं था…
सच्ची महोब्बत को कब मुकाम मिला
न मीरा को मोहन मिला न राधा को श्याम मिला |
तू नही तो तो तेरे बिन दस बीस भी हो तो क्या
इक्कीस हो बाईस हो तेईस हो तो क्या…