हमी से सीखी है
वफ़ा-ऐ-मोहब्बत उसने,
जिससे भी करेगा… कमाल करेगा ।
Dil ke jazbaati lafzon ki ek mehfil ! | दिल के जज्बाती लफ्जो की एक महफ़िल !
हमी से सीखी है
वफ़ा-ऐ-मोहब्बत उसने,
जिससे भी करेगा… कमाल करेगा ।
वक़्त लगा था..पर संभल गया…
क्यों कि….
मैं ठोकरों से गिरा था किसी की नज़रों से नहीं…!!
कोई नहीं मरता ठंड के कारण
मरते हैं लोग सरकारी फंड के कारण
नेताजी खा जाते हैं कंबल वाला फंड
बदनाम हो जाती है दिसंबर वाळी ठंड
Tum Khud Ko
Samajhte Ho Na Jaane Kya
Kya. .Hum Bhi Kuch Nahin
Samajhte Tumhein
Zindagi Ke Siwa…
Ruki hui thi meri
sans mere sine me …
use gale na lagate to ghut ke mar jate….
सोचते हे सीख ले हम भी
बेरुखी करना,
प्यार निभाते-२ अपनी ही कदर खो दी हमने।
झूठ बोलते है वो लोग जो
कहते हैं, हम सब मिटटी से
बने हैं…!!
मैं एक शख्स से वाकिफ हूँ, जो पत्थर का बना हैं….!!
कोई ज़हर कहता है कोई
शहद कहता है….
दोस्त,
कोई समझ नही पाया ज़ायका मोहब्बत का ।
गुज़र जायेगी ये ज़िन्दगी उसके
बगैर भी..
…
वो हसरत-ऐ-ज़िन्दगी है, शर्त-ऐ-ज़िन्दगी तो नहीं ।
उस देश में औरत का मरतबा
कैसे बुलंद हो सकता है,
जहाँ मरदों की लड़ाई में गालियां मां -बहन की दी
जाती है.!!