तेरी शब मेरे

तेरी शब मेरे नाम हो जाये
नींद मुझ पर हराम हो जाये

लौट आता है घर परिन्दा भी
इससे पहले कि शाम हो जाये

हर तकलीफ से

हर तकलीफ से इंसान का दिल दुखता बहुत है,..

पर हर तकलीफ से इंसान सीखता भी बहुत है….!!

अब मौत से

अब मौत से कह दो कि नाराज़गी खत्म कर ले,
वो बदल गयी है जिसके लिए हम ज़िंदा थे​।