आँख बंद करके चलाना खंजर मुझपे, ऐ दोस्त;
कहीं मैं मुस्कुराया तो तुम पहले मर जाओगे..
Category: दोस्ती शायरी
खुद पे भरोसा है तो खुदा साथ है
खुद पे भरोसा है तो खुदा साथ है
अपनो पे भरोसा हे तो दुआ साथ है
जिदंगी से हारना मत ऐ दोस्त ज़माना हो ना हो
ये दोस्त तेरे साथ है….
खामोश चहरे पर हजारो पहरे होते है!
खामोश चहरे पर
हजारो पहरे होते है,
हँसती आँखों में भी
जख्म गहरे होते है,
जिनसे अक्सर
रूठ जाते है हम,
असल में उनसे ही
रिश्ते ज्यादा गहरे होते है .
ये दोस्ती का बंधन भी
बडा अजीब है…
मिल जाए तो बातें लंबी….
बिछड जाए तो यादें लंबी….।
मुझे दोस्तों के साथ देखकर लौट जाते है गम!
मुझे दोस्तों के साथ देखकर लौट जाते है गम,
कहते है, “इस का कुछ बिगाड नहीं सकते हम!
तुम पे लिखना शुरु कहा से करु
तुम पे लिखना शुरु कहा से करु,
अदा से करु या हया से करु,
तुम सब कि दोस्ती इतनी खुबसुरत है,
पता नही कि तारिफ जुबा से करु या दुवाओं से करु…
अपनी दोस्ती का बस इतना सा असूल है।
अपनी दोस्ती का बस इतना सा असूल है,
जो तू कुबूल है, तो तेरा सब कुछ कुबूल है..