सपने अपलोड तो तुरंत हो जाते है
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डाऊनलोड करने मे जिंदगी निकल जाती है……!!!!!!!
Dil ke jazbaati lafzon ki ek mehfil ! | दिल के जज्बाती लफ्जो की एक महफ़िल !
सपने अपलोड तो तुरंत हो जाते है
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डाऊनलोड करने मे जिंदगी निकल जाती है……!!!!!!!
सुनो इक बात कहूँ तुमसे
रोज़े की तरह फ़र्ज़ हो जाओ मुझ पे
लहजा-ए-यार में जहर है बिच्छू की तरह, वो मुझे आप तो कहता है, मगर ‘तू’ की तरह…
लोग कहते हैं ज़मीं पर किसी को खुदा नहीं मिलता,शायद उन लोगों को दोस्त कोई तुम-सा नहीं मिलता……!!किस्मतवालों को ही मिलती है पनाह किसी के दिल में,यूं हर शख़्स को तो जन्नत का पता नहीं मिलता……….!!अपने सायें से भी ज़यादा यकीं है मुझे तुम पर,अंधेरों में तुम तो मिल जाते हो, साया नहीं मिलता……..!!इस बेवफ़ा ज़िन्दगी से शायद मुझे इतनी मोहब्बत ना होतीअगर इस ज़िंदगी में दोस्त कोई तुम जैसा नहीं मिलता…!!
मिज़ाज बदलते रहते हैं हर पल लोगों के यहाँ
ये मिज़ाजों का शहर है जरा सँभलकर चलना
ताल्लुक हो तो रूह से रूह का हो …
दिल तो अकसर
एक दूसरे से भर जाया करते है
कोई तो लिखता होगा इन कागज़ के ज़र्रों और इन पत्थरों का नसीब,
वरना यह मुमकिन नहीं कि कोई पत्थर ठोकर खाए,आैर कोई भगवान हो जाए….
कोई कागज़ रद्दी बन जाए तो कोई कागज़ गीता या कुरान हो जाए…!
क्या हसीन इत्तेफाक़ था तेरी गली में आने का.,
किसी काम से आये थे, किसी काम के ना रहे..
जरुरी तो नहीँ हर रिश्ते को नाम की डोर से बाँधा जाए,
बाँधे गए रिश्ते अक्सर टूट जाते हैँ..!!!
इंसान हूँ, तहरीर नहीं हूँ मैं ।
पत्थर पे लिखी लकीर नहीं हूँ मैं ।।
मेरे भीतर इक रूह भी बसती है लोगों
सिर्फ़ एक अदद शरीर नहीं हूँ मैं ।।