आखों की ख्वाहिशों को हर वक़्त दरकिनार किया,
ये सोचकर कि खुदा देखा नहीं पूजा जाता है।
Category: Urdu Shayri
मेरी ज़िन्दगी में
मेरी ज़िन्दगी में तेरी याद भी उसी तरह है,
जैसे सर्दी की चाय में अदरक का स्वाद|
हवाए हड़ताल पर है
हवाए हड़ताल पर है शायद,
आज तुम्हारी खुशबू नहीं आई..
इस खामख्याली में
इस खामख्याली में, मगरूर वो रहते हैं…
सब हुनर उन्हीं के हैं, हर ऐब हमारा है….
बड़ा सख्त मिज़ाज है
बड़ा सख्त मिज़ाज है वो शख्स,
उसे याद रहता है कि मुझे याद नहीं करना…
सबकुछ निभा गया
वो तो मैं था कि पागल सबकुछ निभा गया,
ज़िंदगी भर वर्ना मुह्ब्बत कौन करता है..
दिल अच्छे होते हैं
जिनके दिल अच्छे होते हैं दिमाग वाले उनका अच्छा फायदा उठाते हैं…
एक तो वैसे ही …..
एक तो वैसे ही ….. तुम्हे भुलाना मुश्किल है
और रोज़ मम्मी……. बादाम खिला देती है.
लोगों ने कहा
लोगों ने कहा वक़्त के साथ लोग बादल जाते है ..
फिर क्या था …
मैंने कभी उन्हें लोगों में गिना ही नहीं …
रोज रोज गिर कर भी
रोज रोज गिर कर भी मुक्कमल खड़ा हूँ,
ऐ मुश्किलों, देखो मे तुमसे कितना बड़ा हूँ…!!