नज़दीक ही रहता है

नज़दीक ही रहता है वो पर मिलने नही आता..
पुछो तो मुस्करा के कहता है..
तुम से तो मुहोब्बत है..
तुम से क्या मिलना..

जनाजा रोक कर

जनाजा रोक कर वो मेरा
कुछ इस अन्दाज़ मे बोले;
गली छोड्ने को कहा था,
तुमने तो दुनियां ही छोड दी।