वो जो अँधेरो में भी नज़र आए
ऐसा साया बनो किसी का तुम!
Category: Shayri-E-Ishq
हाथ बेशक छूट गया
हाथ बेशक छूट गया,
लेकिन
वजूद उसकी उंगलियो में ही रह गया..
मैं वो बात हूँ
मैं वो बात हूँ, जो बनी नहीं..
मैं वो रात हूँ,जो कटी नहीं !!
ज़िन्दगी के हिसाब किताब
ज़िन्दगी के हिसाब किताब भी बड़े अजीब थे
जब तक हम अज़नबी थे, ज्यादा करीब थे….
बचा न कहने को
कुछ भी बचा न कहने को हर बात हो गई
आओ कहीं शराब पिएँ रात हो गई|
टूटी फूटी कश्ती
टूटी फूटी कश्ती और एक खुश्क समंदर देखा था….
कल रात झांक के शायद मैंने अपने अंदर देखा था….
कहते है के
कहते है के पैसा बोलता है
हमने पैसे को बोलते तो नहीं देखा
पर कई यो को चुप करवाते जरूर देखा है|कहते है के पैसा बोलता है
हमने पैसे को बोलते तो नहीं देखा
पर कई यो को चुप करवाते जरूर देखा है|
मैं लिखता हुं
मैं लिखता हुं सिर्फ दिल बहलाने के लिए….
वर्ना
जिसपर प्यार का असर नही हुआ
उस पर अल्फाजो का क्या असर होगा..
न जाने क्या
न जाने क्या मासूमियत है तेरे चेहरे पर, तेरे सामने आने से ज़्यादा तुझे छुपकर देखना अच्छा लगता है …!!!..
चित्रकार तुझे उस्ताद
चित्रकार तुझे उस्ताद मानूँगा,….
दर्द भी खींच मेरी तस्वीर के साथ…