ज़िंदगी जिनसे हो ख़फ़ा, उनसे रूठ जाती है मौत भी शायद
Category: Shayari
उसे भरम है
उसे भरम है अभी के वो नादान जीतेगा।
जो सच्चा होगा वही मेरी जान जीतेगा ।
तू डरता क्यूँ है इन झूठ के सौदागरों से ।
जंग जब भी होगी दावा है ईमान जीतेगा।।
हम मरेगें भी तो
हम मरेगें भी तो उस अंदाज से,
जिस अंदाज में लोग जीने को भी तरसते है।
जो कुरेद कर
जो कुरेद कर दिवार पे तुम्हारा नाम लिखा था,
ज़िन्दगी की सबसे लम्बी कहानी वही तो थी।
आँखों में भी
आँखों में भी कुछ सपने सो जाते हैं
सपनों में भी मुश्किल जब उनका आना लगता है
यादों को याद बना कर
यादों को याद बना कर रख लिया
जज्बातों को तेज़ाब बना कर रख लिया
अपनी हदों में
अपनी हदों में रहिए कि रह जाए आबरू,
ऊपर जो देखना है तो पगड़ी सँभालिये
बिखरने के बहाने
बिखरने के बहाने तो बहुत मिल जाएँगे …
आओ हम जुड़ने के अवसर खोजें..!
कोई वक़ालत नही चलती
कोई वक़ालत नही चलती ज़मीं वालो की.
जब कोई फैसला आसमाँ से उतरता है…!!!.
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खत्म होने की वजह
कुछ रिश्तों के खत्म होने की वजह
सिर्फ यह होती है कि..
एक कुछ बोल नहीं पाता
और दुसरा कुछ समझ ही नहीं पाता।