मैं बंद आंखों से पढ़ता हूं रोज़ वो चेहरा,जो शायरी की सुहानी किताब जैसा है.!!
Category: Sad Shayri
धीरे धीरे बहुत
धीरे धीरे बहुत कुछ बदल रहा है…
लोग भी…रिश्ते भी…और कभी कभी हम खुद भी…
अगर तू आंसू है
अगर तू आंसू है तो फिर…..
मेरा भी रोना जरूरी है….
किसी मोहब्बत वाले
किसी मोहब्बत वाले वकील से ताल्लुक हो तो बताना दोस्तों …
मुझे अपना महबूब अपने नाम
करवाना है?
हर एक शख़्स
हर एक शख़्स की अपनी ही एक मंज़िल है,
कोई किसी का यहाँ हम-सफ़र नहीं होता…
दुआ करो कि
दुआ करो कि ये पौदा सदा हरा ही लगे,
उदासियों में भी चेहरा खिला खिला ही लगे…
इतिहास गवाह है
इतिहास गवाह है, कि जब भी कोई नया साल आया है,,
साल भर से ज्यादा नहीं टिक पाया है……..!
सितम की रस्में
सितम की रस्में बहुत थीं लेकिन, न थी तेरी अंजुमन से पहले;
सज़ा खता-ए-नज़र से पहले, इताब ज़ुर्मे-सुखन से पहले;
जो चल सको तो चलो के राहे-वफा बहुत मुख्तसर हुई है;
मुक़ाम है अब कोई न मंजिल, फराज़े-दारो-रसन से पहले।
आदत सी है
आदत सी है पड़ गई , किया गया स्वीकार !
महँगाई मुद्दा नहीं , ना ही भ्रष्टाचार !!
रिश्ते संजोने के लिए
रिश्ते संजोने के लिए मैं झुकता रहा,
और लोगों ने इसे मेरी औकात समझ लिया…