लफ़्ज़ों के इत्तेफाक़ में,यूँ बदलाव करके देख,
तू देख कर न मुस्कुरा,बस मुस्कुरा के देख।।
Category: Hindi Shayri
जहा कोशिशों की
जहा कोशिशों की ऊँचाई अधिक होती है….
वहा किस्मत को भी झुकना पड़ता है ।
वो इस अंदाज़ की
वो इस अंदाज़ की मुझसे मोहब्बत चाहता है…
मेरे हर ख़्वाब पर अपनी हकुमत चाहता है… !!!
न कोई है
न कोई है छोटा न कोई बड़ा है !
अहंकार चट्टान बन कर खड़ा है !!
पहाड़ा पढ़ाता है सबको ये ज़ालिम !
समय हांथ धो करके पीछे पड़ा है !!
वो जो चेहरे पे
वो जो चेहरे पे लिखी दास्तान ना पढ़ पाया,फ़ायदा नहीं कुछ उसको हाल-ए-दिल सुनाने का|
बड़े सपनो की
बड़े सपनो की चर्चा कभी छोटी सोच वालो से मत करो !!!
जाने कब उतरेगा
जाने कब उतरेगा कर्ज उसकी मोहब्बत का…!!
हर रोज आँसुओं से इश्क की किस्त भरता हूँ…!!
किस के लिए
किस के लिए जन्नत
बनाई तूने ए खुदा
.
कौन है इस जहाँ में
जो गुनाहगार नहीं…
अपनी मज़ार तो बता !
हम रोज अपने खून का दिया जलाएंगे,
ऐ इश्क़ तू इक बार अपनी मज़ार तो बता !
हर वक्त तेरे
हर वक्त तेरे ख्याल रहते हैं मुझे घेरे,
जैसे मेरे हर एहसास भी हो गये तेरे..!!