पहले जैसा रंग नहीं है जीवन की रंगोली में जाने कितना ज़हर भरा है अब लोगों की बोली में ..
Author: pyarishayri
अखबार के साथ दबे
अखबार के साथ दबे पांव चली आती थीं, टीवी ने खबरों को शोर मचाना सिखा दिया..!!
MOTHER का M ही
MOTHER का ‘M’ ही महत्वपूर्ण है । क्योंकि ‘M’ के बिना बाकी सब OTHER है ।
मुझे
मुझे कहना है अभी वह शब्द जिसे कहकर निःशब्द को जाऊँ मुझे देना है अभी वह सब जिसे देकर निःशेष हो जाऊँ मुझे रहना है अभी इस तरह कि मैं रहूँ लेकिन ‘मैं’ रह न जाऊँ I
पानी फेर दो इन पन्नो
पानी फेर दो इन पन्नो पर.. ताकि धुल जाये स्याही..! ज़िन्दगी फिर से लिखने का मन करता है.. कभी कभी..!
संबंधो को निभाने के लिए समय
संबंधो को निभाने के लिए समय निकालियें .. वरना जब आपके पास समय होगा, तब तक शायद संबंध ही ना बचें!!
मुझे सिर्फ़ इतना बता
मुझे सिर्फ़ इतना बता दो… इंतज़ार करूँ या बदल जाऊँ तुम्हारी तरह…..
खरीदने निकला था थोड़ी
खरीदने निकला था थोड़ी ख़ुशी, ज्यादा खुश तो वो मिले जिनकी जेबें खाली थी…!!
आ गई याद शाम ढलते
आ गई याद शाम ढलते ही, बुझ गया दिल चराग जलते ही।
दिल उदास है बहुत
दिल उदास है बहुत कोई पैगाम ही लिख दो, तुम अपना नाम ना लिखो गुमनाम ही लिख दो…